7 सितंबर को कन्याकुमारी से शुरू हुई राहुल गांधी की भारत जोड़ो पदयात्रा 105वें दिन राजस्थान के साथ लगते नूंह (मेवात) जिले में पड़ने वाले मुंडका बॉर्डर के जरिए हरियाणा में प्रवेश कर रही है। हरियाणा में यात्रा का यह पहला फेज है। जिसमें यात्रा 3 दिन में 3 जिलों से होकर गुजर रही है। हर जिले में एक दिन यात्रा का ठहराव होगा।
24 दिसंबर की सुबह यात्रा दिल्ली में प्रवेश कर जाएगी। यात्रा कुल 116 किलोमीटर का सफर करेगी। राहुल गांधी की यात्रा सबसे ज्यादा मुस्लिम बाहुल्य जिले नूंह में रुकेगी।
सबसे ज्यादा नूंह में चलेगी यात्रा
हरियाणा का नूंह जिला मुस्लिम बहुल्य इलाका है। राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा सबसे ज्यादा टाइम और सफर नूंह जिले में ही तय करेगी। यहां करीब 70 किलोमीटर की यात्रा होगी। सबसे कम गुरुग्राम जिले में 20 किलोमीटर की यात्रा होगी। अंतिम दिन फरीदाबाद में यात्रा 26 किलोमीटर की होगी।
पूरे रूट पर बड़े-बड़े होर्डिंग
नूंह से लेकर फरीदाबाद तक पूरे रूट पर राहुल गांधी की पदयात्रा को लेकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी और स्थानीय नेताओं की तरफ से बड़े-बड़े होर्डिंग लगाए गए हैं। मुंडका बॉर्डर पर हरियाणा की सीमा में सुबह के समय प्रदेशभर से बड़ी संख्या में कांग्रेस के कार्यकर्ता पहुंचे।
मुस्लिम बहुल्य मेवात इलाके में कांग्रेस पार्टी का अच्छा खासा वोट बैंक है। यहां से कांग्रेस के 3 एमएलए भी है। कांग्रेस की इस एरिया में मजबूत पकड़ है। खासकर पूर्व सीएम भूपेन्द्र हुड्डा का भी खुद का जनाधार भी इस इलाके में खासा रहा है।
राहुल गांधी सुबह तय जगह से यात्रा शुरू करेंगे। पैदल चलने के दौरान वे लोगों से मुलाकात और बातचीत करेंगे। सुबह की यात्रा रुकने के बाद तय जगह पर लंच होगा। लंच की व्यवस्था हर जगह 3 लेयर में की जाएगी। पहली लेयर में सिर्फ राहुल गांधी के अलावा चुनिंदा नेता ही साथ होंगे। लंच के बाद थोड़ा आराम कर राहुल फिर यात्रा शुरू करेंगे।
शाम की यात्रा में कुछ दूर चलने के बाद तय जगह पर हर रोज एक कॉर्नर मीटिंग होगी। यहां राहुल सभा करेंगे। ये सभाएं हर जगह अलग-अलग तरह की होगी। सभा के बाद राहुल फिर आगे बढ़ेंगे और फिर अपने नाइट स्टे वाली जगह पर पहुंचेंगे।
यहां राहुल सहित अन्य यात्रियों के लिए सांस्कृतिक कार्यक्रम सहित अलग-अलग व्यवस्थाएं हरियाणा कांग्रेस की तरफ से की गई है।
कंटेनर में ही होगा नाइट स्टे
यात्रा के दौरान खास बात यह रहेगी की राहुल गांधी नाइट स्टे कंटेनर में ही करेंगे। राहुल गांधी का अपना कंटेनर अलग है। कंटेनर में बेड और अटैच बाथरूम है। इसके अलावा राहुल का एक और कंटेनर है, जिसमें उनका किचन है।
उनके साथ चल रहे अलग-अलग यात्रियों के लिए 2 से 8 बेड तक के अलग कंटेनर हैं। ये कंटेनर हर नाइट स्टे वाली जगह पर पार्क किए जाएंगे। हरियाणा के अन्य नेताओं और यात्रियों के लिए स्टे की व्यवस्था अलग होगी। इसके बाद अगले दिन कुछ दूर से राहुल अपनी यात्रा शुरू करेंगे।
कांग्रेस CM कैबिनेट समेत 15KM पैदल चलेंगे
नूंह में यात्रा के स्वागत के बाद राहुल गांधी ने कहा कि आजकल नेताओं और जनता के बीच में खाई बन गई है। यात्रा ने उस खाई को पाटने का काम किया है। यात्रा में शामिल नेता लंबे भाषण नहीं देते, लोगों से मिलते हैं। इस यात्रा ने हिंदुस्तान की राजनीति में काम करने का विजन दिया है।
राहुल के मेहमानों से हरियाणा BJP में टेंशन:
हरियाणा में भारत जोड़ो यात्रा में राहुल गांधी के मेहमानों ने BJP की टेंशन बढ़ा रखी है। यहां 21 दिसंबर से यात्रा शुरू हो रही है। राहुल गांधी से हरियाणा में 200 खास मेहमान मिलेंगे। इसकी लिस्ट खुद राहुल गांधी की टीम ने तैयार की है। हालांकि इसकी लिस्ट को सीक्रेट रखा गया है।
जिस वजह से सरकार को इसकी भनक नहीं लग रही। हरियाणा सरकार व खासकर भाजपा इसके बारे में पता लगाने में जुटी हुई है, ताकि कोई ऐसी शख्सियत न हो, जिससे सरकार या भाजपा को झटका लगे।
गेस्ट लिस्ट में ये लोग शामिल
राहुल गांधी की गेस्ट लिस्ट में हरियाणा के उन लोगों को शामिल किया गया है जो राज्य के साथ ही नेशनल और इंटरनेशनल ख्याति प्राप्त कर चुके हैं। इनमें सेना के सीनियर अफसर, इंटरनेशनल खिलाड़ी, हरियाणा फिल्म जगत की हस्तियां शामिल रहेंगी। कुछ ऐसी स्वयं सेवी संस्थाओं के लोग भी होंगे, जिन्होंने अपने काम के बल पर हरियाणा सहित पूरे देश में अलग पहचान बनाई है।
लिस्ट लीक होने से क्यों डर रही कांग्रेस
हरियाणा कांग्रेस गेस्ट लिस्ट को लीक होने से बचा रही है इसकी पीछे बड़ी वजह हरियाणा सरकार बताई जा रही है। हरियाणा कांग्रेस के नेताओं के अनुसार यदि लिस्ट में गेस्ट के नाम सार्वजनिक हो गए तो सरकार उन्हें दबाव डालकर यात्रा में शामिल नहीं होने देगी। इससे यात्रा की लोकप्रियता और लोगों को जोड़ने में पार्टी के लिए परेशानी खड़ी हो सकती है।
हरियाणा सरकार इसलिए चिंता में
हरियाणा में 2024 में विधानसभा चुनाव हैं। वहीं कुछ समय बाद निकाय चुनाव भी हैं। जिसकी वजह से भाजपा नहीं चाहती कि राज्य में कांग्रेस हक में माहौल बने। इसके साथ ही हिमाचल प्रदेश चुनाव में सत्ता परिवर्तन भी कांग्रेस के पक्ष में हुआ है। इसका असर हरियाणा में न हो इसके लिए भी BJP भारत जोड़ो यात्रा की सफलता को लेकर चिंतित है।
BJP की चिंता की यह भी वजहें
हाल ही में हुए पंचायत चुनाव के परिणामों ने BJP को शहरी के साथ ग्रामीण क्षेत्रों में झटका लगा है। जिला परिषद के चुनाव में बीजेपी ने 102 सीटों पर प्रत्याशियों को सिंबल दिया, लेकिन मात्र 22 सीटों पर ही जीत मिल सकी। इसके अलावा पंच-सरपंच चुनाव में भी बेहतर परिणाम नहीं मिले।
- 2019 के विधानसभा चुनाव में भाजपा पूरा बहुमत नहीं पा सकी। जिस वजह से जजपा के साथ मिलकर सरकार बनानी पड़ी। डिप्टी CM समेत मंत्रियों के कई अहम पद जजपा को देने पड़े।
- हरियाणा में भाजपा 2 टर्म से सत्ता में है। ऐसे में उन्हें एंटी इनकंबेसी का भी डर सता रहा है। इनेलो के कमजोर होने और जजपा के साथ होने के बाद राज्य में भाजपा की सबसे बड़ी विपक्षी कांग्रेस ही है। ऐसे में राहुल गांधी की यात्रा से कांग्रेस के हक माहौल बन सकता है।